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जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल 2024 के दिल्ली प्रीव्यू में शानदार प्रोग्राम पर हुई चर्चा 

होटल क्लार्क्स आमेर, जयपुर में 1 से 5 फरवरी को आयोजित होने वाले जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल का प्रीव्यू आज द लीला पैलेस, नई दिल्ली में रखा गया| फेस्टिवल के प्रोडूसर टीमवर्क आर्ट्स ने इस प्रीव्यू में फेस्टिवल के 17वें संस्करण की झलकी प्रस्तुत की|

साहित्य के इस महाकुम्भ में 16 भारतीय और 8 अंतर्राष्ट्रीय भाषाएं शामिल होंगी| भारतीय भाषाओँ में शामिल हैं: असमी, अवधी, बंजारा भाषा—लामानी (लम्बाडा), बंगाली, हिन्दी, कन्नड़, कश्मीरी, कुरुख, मलयालम, उड़िया, पंजाबी, राजस्थानी, संस्कृत, तमिल, तोड़ा और उर्दू| 

Namita Gokhale at Delhi Preview of JLF 2024

फेस्टिवल के 17वें संस्करण में देश-विदेश के 520 वक्ता और कलाकार शामिल होंगे, जिनमें बुकर, इंटरनेशनल बुकर, पुलित्ज़र, साहित्य अकादमी, दादा साहेब फाल्के अवार्ड, डीएससी प्राइज फॉर साउथ एशियन लिटरेचर, जेसीबी प्राइज फॉर लिटरेचर से सम्मानित लेखक भी हैं| फेस्टिवल में फिक्शन-नॉन फिक्शन, साहित्य-समीक्षा, इतिहास, राजनीति और करंट अफेयर, अर्थशास्त्र, काव्य, कला व संस्कृति, कला व आर्किटेक्चर, अनुवाद, ग्राफिक नॉवेल, लैंगिकता, विज्ञान व औषधि, फ़ूड व मेमोरी, जीवनी व संस्मरण, मिथक, अध्यात्म व धर्म, मानसिक स्वास्थ्य, फैशन व लाइफस्टाइल, कानून व न्याय, जिओपॉलिटिक्स, खेल, अपराध कथा, जलवायु परिवर्तन व पर्यावरण, पेट्स, शहर, लाइब्रेरीज और सिनेमा सहित विविध विषयों पर चर्चा होगी|       

प्रसिद्ध लेखिका और जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल की को-डायरेक्टर, नमिता गोखले ने कहा, “अपने सत्रहवें साल में हम अपनी बहुभाषी साहित्यिक विरासत के प्रति दृढ़ हैं| हमारे साथ पच्चीस देशों के लेखक जुड़ेंगे| हम सोलह भारतीय भाषाओँ का प्रतिनिधित्व करेंगे, जिसमें वाचिक परम्परा भी शामिल है|

हमारा प्रयास विचारों और विषयों के ऐसे संसार को गढ़ना होता है, जहाँ साहित्य से लेकर सुर तक, अर्थशास्त्र से लेकर अपराध साहित्य तक, गल्प से लेकर तथ्य तक सारे विषय कवर हो जाएं|”

“अपने को-डायरेक्टर के साथ मिलकर मैंने गद्य, पद्य और रुपहले पर्दे तक की गाथाओं को संजोया है, जिससे हम अपने समय को और बेहतर तरीके से समझ पाएं,” गोखले ने आगे कहा|   

लेखक, इतिहासकार और जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल के को-डायरेक्टर विलियम डेलरिम्पल ने कहा, “जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल में हर साल हम अपना ही स्तर बढ़ाने का प्रयास करते हैंऔर 2024 अब तक का सबसे बेहतर साल होने जा रहा हैहम दुनिया की श्रेष्ठ प्रतिभाओं की मेजबानी करते हैंजिनमें महान उपन्यासकार व कविपर्यावरणविद और खोजी पत्रकारयात्रा लेखक और हास्य लेखकसाहित्य समीक्षक और दार्शनिक तक सब शामिल होते हैंये अभिव्यक्ति का ऐसा मंच हैजहाँ प्रत्येक क्षेत्र और धाराओं के लोग अपना मत व्यक्त करने को स्वतंत्र हैं|”  

Sanjoy K Roy Namita Gokhale and William Dalrymple at Delhi Preview of JLF 2024

डेलरिम्पल आगे कहते हैं, “दिल्ली कर्टेन रेजर में अपना स्पेशल लाइन-अप प्रस्तुत करते हुए हम उत्साहित हैंइस फेस्टिवल में दिल्ली से भारी संख्या में पाठकलेखक व साहित्य प्रेमी हिस्सा लेते हैंहम दिल्ली के अपने सभी मित्रों का स्वागत जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल 2024 में करते हैंवक्ताओं की हमारी लिस्ट में शामिल हैं: पॉल लिंचहेर्नन डिआज़बेन मकिन्त्रेबोनी गार्मुसरिचर्ड ओसमानपीटर फ्रैंकोपनकोलिन थुब्रोंमैरी बियर्डकेय बर्डकैटी किटामुरामोनिका अलीनिकोलस शेक्सपियरडेमों गल्गुट, ल्यूक स्योंकैथरीन रुंडेलमेर्वे एमरेविन्सेंट ब्राउनअमिया श्रीनिवासन, पैट्रिक रेडेन कीफजैरी ब्रोटों और अन्ययकीनन यह फेस्टिवल बहुत ग्रैंड होने वाला है!”

टीमवर्क आर्ट्स के मैनेजिंग डायरेक्टर और जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल के प्रोडूसरसंजॉय के. रॉय ने कहा, “जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल 2024 की ओर बढ़ते हुएहमारा मकसद समावेशिता हैहम ऐसे साहित्य की बात करते हैंजो सबको जोड़ता है और वैश्विक स्तर पर संवाद को बढ़ावा देता है। हमारा फेस्टिवल बहुलवादविविधता और बहुभाषावाद का प्रतीक हैजिसमें 24 से अधिक भाषाएं प्रस्तुत होंगीजिनमें से 16 भारत से हैं। 2024 संस्करण में भी हम अपने मूल्यों के प्रति दृढ़ हैं – हमारा मकसद है युवाओं को साहित्त्य और संस्कृति के प्रति सजग बनानाएक ऐसा लोकतांत्रिक मंच बनाना जहाँ सभी को अपने विचार व्यक्त करने की आज़ादी हो|

Sanjoy K Roy at Delhi Preview of JLF 2024

द लीला पैलेस में आयोजित कर्टेन रेजर में मोहम्मद रफ़ीक खान लांगा ने सम्मोहक प्रस्तुति दी| रफ़ीक राजस्थान के पारम्परिक लोक गायन घराने लांगा से आते हैं| 

द लीला पैलेसेजहोटल एंड रिजोर्ट की चीफ़ ब्रांड ऑफिसर और मार्केटिंग की सीनियर वाईस प्रेजिडेंट अंजली मेहरा ने कहा, “लगातार तीसरे साल मेंजयपुर लिटरेचर फेस्टिवल का पार्टनर बनना हमारे लिए गर्व की बात हैइस एसोसिएशन के माध्यम से हम साहित्य, कलासंस्कृति और परम्परा के प्रति अपने प्रेम में साझेदार बनते हैंअपने मेहमानों के प्रति हमारा उद्देश्य भारतीय परम्परा और ऐश्वर्य को बनाए रखना है|”    

साउथ एशिया के सबसे बड़े पब्लिशिंग कॉन्क्लेव, जयपुर बुकमार्क (जेबीएम) के 11वें संस्करण का आयोजन, फेस्टिवल के समानांतर, पूरे 5 दिनों के लिए होगा, और इसमें देश-दुनिया के प्रकाशक, संपादक, लिटरेरी एजेंट्स, लेखक, अनुवादक और पुस्तक विक्रेता हिस्सा लेंगे| जेबीएम में प्रकाशन से जुड़े सभी विषयों पर गहराई से चर्चा होगी|

जेबीएम के प्रमुख सत्र:

इनफिनिट होरिजोंस: द लैंडस्केप ऑफ़ ट्रांसलेशन

रंजीत होस्कोटेअरुनाव सिन्हा, मिनी कृष्णन संग संवाद कार्तिका वीके

जहाँ पाठक अब दूसरी संस्कृति, दूसरे देश के साहित्य के प्रति आकर्षित हो रहे हैं, तो अनुवाद का क्षेत्र भी विस्तृत होता जा रहा है| भाषा विशेषज्ञों का एक पैनल भाषाई और सांस्कृतिक सीमाओं को पार करने वाली पुस्तकों की पहुंच और प्रभाव पर चर्चा करेगा|

नींदा काला उरावु: लिटरेरी फ्रेंडशिप्स दैट लास्ट

पेरुमाल मुरुगन और कनन सुंदरम संग संवाद विवेक शानबाग

तमिल प्रकाशक कलाचुवादु पिछले बीस सालों से लगाता पेरुमाल मुरुगन की किताबें प्रकाशित कर रहा है| हाल ही में उनकी किताब फायर बर्ड को मिला जेसीबी अवार्ड उनकी रचनात्मक एकता को समर्पित है| ऐसी साहित्यिक मित्रता कैसे बनती है?

ईअर टू द ग्राउंड: एवोल्विंग लिस्ट्स ऑफ़ इंडियन लैंग्वेज पब्लिशर्स

परमिंदर सिंह शोंकीकनन सुंदरम, गीता रामास्वामीशैलेश भरतवासीरवि डीसीईशा चैटर्जी संग संवाद मीता कपूर

भारतीय भाषा प्रकाशन में बहुत तेजी से चीजें बदल रही हैं| कौन सी पुस्तकें अधिक लोकप्रिय हो रही हैं? इस सत्र में तमिल, मलयालम, तेलुगु, हिंदी, बांग्ला और पंजाबी प्रकाशकों की विविध दुनिया पर बात होगी|

जर्नीज अक्रॉस बाउंड्रीज

नवीन किशोर संग संवाद संजॉय रॉय

सीगल बुक्स ने 2023 में अपने 40 साल पूरे किये हैं| इस आइकोनिक पबिशिंग हाउस ने बॉर्डर्स और सीमाओं के पार जाकर किताबों का प्रकाशन किया है| नवीन किशोर हमें सीगल के असाधारण सफर पर ले जाएंगे, एक ऐसा सफ़र जो दोस्ती, भरोसे से शुरू हुआ और उसने कई साहित्यिक सम्बन्ध बनाए|

डिजिटल ड्रीम्स: ओटीटी एंड पब्लिशिंग

साहिरा नायरराधिका गोपालअनीश चांडीआनंद नीलकंठन संग संवाद अनंत पद्मनाभन

ओटीटी की नज़र से पब्लिशिंग| अपने कंटेट को और रोचक व स्क्रीन-फ्रेंडली बनाने के लिए प्रकाशक क्या कर सकते हैं? आपस में वे अपने रिश्ते को और मज़बूत कैसे कर सकते हैं? एक सत्र, जहाँ नये समाज की नई ज़रूरतों पर चर्चा होगी|

क्वेस्टिंग फॉर डाटा: द नीलसन रिपोर्ट एंड अदर इनसाइट्स

विक्रांत माथुरकर्नल युवराज मलिकरिक साइमनसन संग संवाद हिमाली सोढ़ी

तेजी से विकसित होती बुक इंडस्ट्री हमेशा ही डाटा पर निर्भर करती है| नीलसन रिपोर्ट मार्केट के साइज़, ट्रेंड और ऐसे तथ्यों को उजागर करता है, जिनका उपयोग इंडस्ट्री के विकास में किया जा सकता है| इंडस्ट्री के विशेषज्ञ बातायेंगे कि कैसे डाटा अपनी नींव मजबूत बनाने में मदद करते हैं|

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